NCERT Solutions for Class 8 Hindi Vasant Bhag 3 लाख की चूड़ियाँ Important Question Answers Lesson 2
Class 8 Hindi Lakh ki Chudiyan Question Answers – Looking for Lakh ki Chudiyan question answers for CBSE Class 8 Hindi Vasant Bhag 3 Book Chapter 2? Look no further! Our comprehensive compilation of important questions will help you brush up on your subject knowledge.
सीबीएसई कक्षा 8 हिंदी वसंत भाग 3 पुस्तक पाठ 2 के लिए लाख की चूड़ियाँ प्रश्न उत्तर खोज रहे हैं? आगे कोई तलाश नहीं करें! महत्वपूर्ण प्रश्नों का हमारा व्यापक संकलन आपको अपने विषय ज्ञान को बढ़ाने में मदद करेगा। कक्षा 8 के हिंदी प्रश्न उत्तर का अभ्यास करने से परीक्षा में आपके प्रदर्शन में काफी सुधार हो सकता है। हमारे समाधान इस बारे में एक स्पष्ट विचार प्रदान करते हैं कि उत्तरों को प्रभावी ढंग से कैसे लिखा जाए। हमारे लाख की चूड़ियाँ प्रश्न उत्तरों को अभी एक्सप्लोर करें उच्च अंक प्राप्त करने के अवसरों में सुधार करें।
The questions listed below are based on the latest CBSE exam pattern, wherein we have given NCERT solutions to the chapter’s extract based questions, multiple choice questions, short answer questions, and long answer questions.
Also, practicing with different kinds of questions can help students learn new ways to solve problems that they may not have seen before. This can ultimately lead to a deeper understanding of the subject matter and better performance on exams.
- Lakh ki Chudiyan Extract Based Questions
- Lakh ki Chudiyan Multiple Choice Questions
- Lakh ki Chudiyan Questions Answers
- Lakh ki Chudiyan Extra Question Answers
- Lakh ki Chudiyan MCQs
- Lakh ki Chudiyan Class 8 Summary, Explanation, Question Answers
Class 8 Hindi लाख की चूड़ियाँ Question Answers Lesson 2 – सार-आधारित प्रश्न (Extract Based Questions)
सार–आधारित प्रश्न बहुविकल्पीय किस्म के होते हैं, और छात्रों को पैसेज को ध्यान से पढ़कर प्रत्येक प्रश्न के लिए सही विकल्प का चयन करना चाहिए। (Extract-based questions are of the multiple-choice variety, and students must select the correct option for each question by carefully reading the passage.)
1.सारे गाँव में बदलू मुझे सबसे अच्छा आदमी लगता था क्योंकि वह मुझे सुंदर-सुंदर लाख की गोलियाँ बनाकर देता था। मुझे अपने मामा के गाँव जाने का सबसे बड़ा चाव यही था कि जब मैं वहाँ से लौटता था तो मेरे पास ढेर सारी गोलियाँ होतीं, रंग-बिरंगी गोलियाँ जो किसी भी बच्चे का मन मोह लें।
प्रश्न 1. उपर्युक्त गद्यांश के पाठ का नाम और लेखक का नाम लिखिए।
(क) गद्यांश के पाठ का नाम- बस की यात्रा , लेखक का नाम- हरिशंकर परसाई।
(ख) गद्यांश के पाठ का नाम- ध्वनि, लेखक- सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला’।
(ग) गद्यांश के पाठ का नाम- भगवान के डाकिए, लेखक- रामधारी सिंह दिनकर।
(घ) गद्यांश के पाठ का नाम- लाख की चूड़ियाँ, लेखक- कामतानाथ ।
उतर :- (घ) गद्यांश के पाठ का नाम- लाख की चूड़ियाँ, लेखक- कामतानाथ ।
प्रश्न 2. बदलू किसे अच्छा लगता था?
(क) गाँव के लोगों को
(ख) जमींदारों को
(ग) लेखक को
(घ) बच्चों को
उतर:- (ग) लेखक को
प्रश्न 3. बदलू किसे सुंदर-सुंदर लाख की गोलियाँ बनाकर देता था?
(क) बच्चों को
(ख) बेटो को
(ग) गाँव वालो को
(घ) लेखक को
उतर:- (घ) लेखक को
2. वैसे तो मेरे मामा के गाँव का होने के कारण मुझे बदलू को ‘बदलू मामा’ कहना चाहिए था परंतु मैं उसे ‘बदलू मामा’ न कहकर ‘बदलू काका’ कहा करता था जैसा कि गाँव के सभी बच्चे उसे कहा करते थे। बदलू का मकान कुछ ऊँचे पर बना था। मकान के सामने बडा़-सा सहन था जिसमें एक पुराना नीम का वृक्ष लगा था। उसी के नीचे बैठकर बदलू अपना काम किया करता था। बगल में भट्टी दहकती रहती जिसमें वह लाख पिघलाया करता। सामने एक लकड़ी की चौखट पड़ी रहती जिस पर लाख के मुलायम होने पर वह उसे सलाख के समान पतला करके चूड़ी का आकार देता। पास में चार-छह विभिन्न आकार की बेलननुमा मुँगेरियाँ रखी रहतीं जो आगे से कुछ पतली और पीछे से मोटी होतीं। लाख की चूड़ी का आकार देकर वह उन्हें मुँगेरियों पर चढ़ाकर गोल अैर चिकना बनाता अैर तब एक-एक कर पूरे हाथ की चूड़ियाँ बना चुकने के पश्चात् वह उन पर रंग करता।
प्रश्न 1. लेखक बदलू को ‘बदलू काका’ क्यों कहता था?
(क) क्योंकि गांव के सारे बच्चे बदलू को ‘बदलू काका’ ही कहते थे।
(ख) क्योंकि वह लेखक का चाचा था।
(ग) क्योंकि वह गाँव वालों को अच्छा लगता था।
(घ) क्योंकि वह बदलू काका नाम सुनकर खुश होता था ।
उतर:- (क) क्योंकि गांव के सारे बच्चे बदलू को ‘बदलू काका’ ही कहते थे।
प्रश्न 2. बदलू कहाँ बैठकर अपना काम करता था?
(क) जामुन के वृक्ष के नीचे
(ख) खेतों में
(ग) गाँव के चौराहे पर
(घ) नीम के वृक्ष के नीचे
उतर:- (घ) नीम के वृक्ष के नीचे
प्रश्न 3. बदलू दहकती भट्टी में क्या पिघलाया करता था?
(क) लोहा को
(ख) सोना को
(ग) लाख को
(घ) कोयले को
उतर:- (ग) लाख को
प्रश्न 4. बदलू चूड़ियों को आकार देने के लिए किसका प्रयोग करता था?
(क) बेलन का
(ख) ग्लास का
(ग) मोम का
(घ) बेलननुमा मुँगेरियाँ का
उतर:- (घ) बेलननुमा मुँगेरियाँ का
3. बदलू यह कार्य सदा ही एक मचिये पर बैठकर किया करता था जो बहुत ही पुरानी थी। बगल में ही उसका हुक्का रखा रहता जिसे वह बीच-बीच में पीता रहता। गाँव में मेरा दोपहर का समय अधिकतर बदलू के पास बीतता। वह मुझे ‘लला’ कहा करता और मेरे पहुँचते ही मेरे लिए तुरंत एक मचिया मँगा देता। मैं घंटों बैठे-बैठे उसे इस प्रकार चूड़ियाँ बनाते देखता रहता। लगभग रोज ही वह चार-छह जोड़े चूड़ियाँ बनाता। पूरा जोड़ा बना लेने पर वह उसे बेलन पर चढ़ाकर कुछ क्षण चुपचाप देखता रहता मानो वह बेलन न होकर किसी नव-वधू की कलाई हो।
प्रश्न 1. बदलू मचिये पर बैठकर क्या करता था?
(क) पानी पीता था
(ख) हुक्का पीता रहता था
(ग) जूते बनाता रहता था
(घ) चूड़ियाँ बनाता रहता।
उतर:- (ख) हुक्का पीता रहता था
प्रश्न 2. बदलू किसे लला कहकर बोलता था ?
(क) लोगों को
(ख) बेटो को
(ग) लेखक को
(घ) बच्चों को
उतर:- (ग) लेखक को
प्रश्न 3. बदलू लेखक को बैठने के लिए क्या देता था ?
(क) कुर्सी
(ख) मचिया
(ग) खाट
(घ) बेंच
उतर:- (ख) मचिया
प्रश्न 4. बदलू रोज कितनी चूड़ियाँ बनाता था ?
(क) पांच-छह जोड़े
(ख) चार जोड़े
(ग) चार-छह जोड़े
(घ) चार-तीन जोड़े
उतर:- (ग) चार-छह जोड़े
4. बदलू मनिहार था। चूड़ियाँ बनाना उसका पैतृक पेशा था और वास्तव में वह बहुत ही सुंदर चूड़ियाँ बनाता था। उसकी बनाई हुई चूड़ियों की खपत भी बहुत थी। उस गाँव में तो सभी स्त्रियाँ उसकी बनाई हुई चूड़ियाँ पहनती ही थी आस-पास के गाँवों के लोग भी उससे चूड़ियाँ ले जाते थे। परंतु वह कभी भी चूड़ियों को पैसों से बेचता न था। उसका अभी तक वस्तु-विनिमय का तरीका था और लोग अनाज के बदले उससे चूड़ियाँ ले जाते थे। बदलू स्वभाव से बहुत सीधा था। मैंने कभी भी उसे किसी से झगड़ते नहीं देखा। हाँ, शादी-विवाह के अवसरों पर वह अवश्य जिद़ पकड़ जाता था। जीवन भर चाहे कोई उससे मुफ्त चूड़ियाँ ले जाए परंतु विवाह के अवसर पर वह सारी कसर निकाल लेता था। आखिर सुहाग के जोड़े का महत्त्व ही और होता है।
प्रश्न 1. बदलू क्या था?
(क) मनिहार
(ख) लोहार
(ग) किसान
(घ) सुनार
उतर :- (क) मनिहार
प्रश्न 2. बदलू का पैतृक पेशा क्या था ?
(क) खेती करना
(ख) कांच की चूड़ियाँ बनाना
(ग) लाख की चूड़ियाँ बनाना
(घ) सब्जी बेचना
उतर :- (ग) लाख की चूड़ियाँ बनाना
प्रश्न 3. बदलू चूड़ियाँ कैसे बेचता था?
(क) अनाज लेकर
(ख) पैसे लेकर
(ग) सब्जियां लेकर
(घ) वस्तु लेकर
उतर :- (क) अनाज लेकर
प्रश्न 4. बदलू का स्वभाव कैसा था?
(क) सीधा
(ख) रुखा
(ग) चंचल
(घ) मुडी
उतर :- (क) सीधा
Class 8 Hindi Vasant Lesson 2 लाख की चूड़ियाँ बहुविकल्पीय प्रश्न (Multiple Choice Questions)
बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQs) एक प्रकार का वस्तुनिष्ठ मूल्यांकन है जिसमें एक व्यक्ति को उपलब्ध विकल्पों की सूची में से एक या अधिक सही उत्तर चुनने के लिए कहा जाता है। एक एमसीक्यू कई संभावित उत्तरों के साथ एक प्रश्न प्रस्तुत करता है।
प्रश्न 1. ‘लाख की चूड़ियाँ’ पाठ के लेखक कौन है ?
(क) कामतानाथ
(ख) महादेवी वर्मा
(ग) निधि अग्रवाल
(घ) चंद्रकांत त्रिपाठी ‘निराला’
उतर :- (क) कामतानाथ
प्रश्न 2. लाख की चूड़ियाँ कौन बनाता था?
(क) लेखक का मामा
(ख) लेखक
(ग) बदलू
(घ) डबलू
उतर :- (ग) बदलू
प्रश्न 3. बदलू कैसी चूड़ियाँ बनाता था?
(क) चाँदी की
(ख) लोहे की
(ग) लाख की
(घ) काँच की
उतर :- (ग) लाख की
प्रश्न 4. ‘वस्तु-विनिमय’ का क्या अर्थ है-
(क) वस्तु के बदले वस्तु
(ख) वस्तु के बदले पैसे
(ग) पैसे के बदले वस्तु
(घ) समान
उतर :- (क) वस्तु के बदले वस्तु
प्रश्न 5. बदलू क्या था?
(क) लोहार
(ख) सुनार
(ग) मनिहार
(घ) बढ़ई
उतर :- (ग) मनिहार
प्रश्न 6. चूड़ियाँ बनाना किसका पैतृक पेशा था?
(क) बदलू का
(ख) लेखक का
(ग) गांव वालों का
(घ) इनमें से कोई नही
उतर :- (क) बदलू का
प्रश्न 7. बदलू के घर के सामने किसका पेड़ था?
(क) आम का
(ख) केला का
(ग) नीम का
(घ) पीपल का
उतर :- (ग) नीम का
प्रश्न 8. बदलू प्रतिदिन कितनी चूड़ियाँ बना लिया करता था?
(क) तीन-चार जोड़े
(ख) तीन-पांच जोड़े
(ग) चार-छह जोड़े
(घ) छह-सात जोड़े
उतर :- (ग) चार-छह जोड़े
प्रश्न 9. बेलन पर चढ़ी चूड़ियाँ बदलू को कैसी लगती थी?
(क) नई जैसी
(ख) नारी की कलाइयों जैसी
(ग) बहुत सुंदर
(घ) नववधू की कलाई पर सजी जैसी
उतर :- (घ) नववधू की कलाई पर सजी जैसी
प्रश्न 10. पिता की बदली होने का लेखक पर क्या प्रभाव पड़ा?
(क) वह उदास हो गया
(ख) वह मामा के घर न जा सका
(ग) नए मित्र मिले
(घ) पुराने मित्रों से दूर हो गया
उतर :- (ख) वह मामा के घर न जा सका
प्रश्न 11. ‘बेलननुमा मुँगेरियाँ ’ शब्द का क्या अर्थ है?
(क) गोल लकड़ी
(ख) पतली लकड़ी
(ग) सुंदर लकड़ी
(घ) छोटी लकड़ी
उतर :- (क) गोल लकड़ी
प्रश्न 12. रज्जो कौन थी?
(क) लेखक के मामा की लड़की
(ख) लेखक के पड़ोसी की लड़की
(ग) लेखक की बहन
(घ) बदलू की बेटी
उतर :- (घ) बदलू की बेटी
प्रश्न 13. बदलू लेखक को क्या कहकर पुकारता था?
(क) लला
(ख) बेटा
(ग) बाबू
(घ) लल्लू
उतर :- (क) लला
प्रश्न 14. लेखक बदलू को क्या कहकर पुकारता था?
(क) काकू
(ख) चचा
(ग) मामा
(घ) काका
उतर :- (घ) काका
प्रश्न 15. पाठ में सुहाग का जोड़ा किसे कहा गया है?
(क) स्त्री के सिंदूर को
(ख) दुल्हन के कपड़े को
(ग) लाख की चूड़ियाँ को
(घ) दूल्हे के कपड़े को
उतर :- (ग) लाख की चूड़ियाँ को
प्रश्न 16. बदलू ने किसके विवाह का आखिरी जोड़ा बनाया था?
(क) लेखक की बेटी के लिए
(ख) जमींदार की बेटी के लिए
(ग) लेखक के लिए
(घ) अपनी बेटी के लिए
उतर :- (ख) जमींदार की बेटी के लिए
प्रश्न 17. बदलू ने कितने पैसे मिलने पर भी विवाह का जोड़ा नहीं बेचा?
(क) ग्यारह आने
(ख) नौ आने
(ग) दस आने
(घ) आठ आने
उतर :- (ग) दस आने
प्रश्न 18. चार से पांच आम अंजुलि में लेकर किसने लेखक की ओर बढ़ा दिया?
(क) मामा ने
(ख) बदलू ने
(ग) चाची ने
(घ) रज्जो ने
उतर :- (घ) रज्जो ने
प्रश्न 19. लेखक बदलू से अधिकतर किस समय मिलता था?
(क) रात के समय
(ख) शाम के समय
(ग) दोपहर के समय
(घ) दिन के समय
उतर :- (ग) दोपहर के समय
प्रश्न 20. बदलू लेखक को क्या खिलाता था?
(क) दही
(ख) काजू
(ग) चीनी
(घ) मलाई
उतर :- (घ) मलाई
Class 8 Hindi लाख की चूड़ियाँ प्रश्न और उत्तर Questions Answers
कहानी से
प्रश्न 1. बचपन में लेखक अपने मामा के गाँव चाव से क्यों जाता था और बदलू को ‘बदलू मामा’ न कहकर ‘बदलू काका’ क्यों कहता था?
उत्तर:- बचपन में लेखक अपने मामा के गाँव चाव से इसलिए जाता था क्योंकि वहाँ बदलू उसे लाख की गोलियाँ बनाकर देता था। जो उसे पसंद थी। लेखक उसे “बदलू मामा” न कहकर “बदलू काका” इसलिए कहता था क्योंकि गाँव के सभी बच्चें उसे “बदलू काका” कहते थे।
प्रश्न 2. वस्तु-विनिमय क्या है? विनिमय की प्रचलित पद्धति क्या है?
उत्तर:- वस्तु विनियम एक पुरानी व्यापार पद्धति है। जिसमें वस्तु के बदले वस्तु दी जाती है। पुराने समय में वस्तु के बदले पैसे का लेनदेन नहीं होता था। आधुनिक व्यापार पद्धति में वस्तु के बदले धन का लेनदेन होता है।
प्रश्न 3. ‘मशीनी युग ने कितने हाथ काट दिए हैं।’- इस पंक्ति में लेखक ने किस व्यथा की ओर संकेत किया है?
उत्तर:- मशीनीकरण के कारण हस्तशिल्प पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ा है। मशीनों के आ जाने से कई लोगों की आमदनी साधन न रहा। लोग बेरोज़गार हो गए हैं। पैतृक व्यवसाय बंद हो गया है। ऊपर लिखी गई पंक्ति बदलू की दशा की ओर संकेत करती है। लाख की चूड़ियों का व्यवसाय बंद हो गया। इसका उसके जीवन पर बहुत प्रभाव पड़ा है। उसकी आर्थिक स्थिति और स्वास्थ बिगड़ गया।
प्रश्न 4. बदलू के मन में ऐसी कौन-सी व्यथा थी जो लेखक से छिपी न रह सकी।
उत्तर:- मशीनीकरण के आने तथा काँच की चूड़ियों के प्रचलन एवं गाँव में औरतों के काँच की चूड़ियों के पहनने के कारण बदलू का व्यवसाय बिल्कुल बंद हो गया था। उसकी आर्थिक स्थिति भी ख़राब हो गई थी। अपना पैतृक काम खो देने की व्यथा लेखक से छिपी न सकी।
प्रश्न 5. मशीनी युग से बदलू के जीवन में क्या बदलाव आया?
उत्तर:- मशीनी युग के कारण बदलू का सुखी जीवन दुख में बदल गया था। गाँव की सारी औरतें काँच की चूड़ियाँ पहनने लगी थी। बदलू की कला को अब कोई नहीं पूछता था। उसकी चूड़ियों की माँग अब नहीं रही थी। इसी कारण शादी-ब्याह से मिलने वाला अनाज, कपड़े तथा अन्य उपहार उसे नहीं मिलते थे। उसकी आर्थिक हालत बिगड़ गई जिससे उसके स्वास्थ पर भी बुरा असर पड़ा था।
कहानी से आगे
प्रश्न 1. आपने मेले-बाज़ार आदि में हाथ से बनी चीज़ों को बिकते देखा होगा। आपके मन में किसी चीज़ को बनाने की कला सीखने की इच्छा हुई हो और आपने कोई कारीगरी सीखने का प्रयास किया हो तो उसके विषय में लिखिए।
उत्तर : मैंने मेले-बाजार में हाथ से बने रंग-बिरंगे खिलौने, रंगीन और सफेद मोमबत्तियां, हाथ के पंखे, जूट की वस्तुएं और मिट्टी के खिलौने व दिये बिकते देखी हैं, ये वस्तुएं बहुत सुन्दर और मनमोहक लगती हैं मैंने लगभग तीन – चार महीने एक कारीगर के साथ रंगीन मोमबत्तियां बनाना सीखा उसके बाद, मैंने अपना खुद का मोमबत्तियों का काम शुरू किया, जिससे मुझे अतिरिक्त आमदनी होने लगी।
प्रश्न 2. लाख की वस्तुओं का निर्माण भारत के किन-किन राज्यों में होता है? लाख से चूड़ियों के अतिरिक्त क्या-क्या चीज़ें बनती हैं? ज्ञात कीजिए।
उतर :- लाख की वस्तुओं का निर्माण भारत के विभिन्न राज्यों में जैसे राजस्थान, कर्नाटक, गुजरात, उत्तर प्रदेश आदि राज्यों में प्रमुख रूप से होता है। लाख से चूड़ियाँ, मूर्तियाँ, गोलियाँ, सुंदर खिलौने, आभूषण तथा सजावट की वस्तुओं का निर्माण होता है।
अनुमान और कल्पना
प्रश्न 1. घर में मेहमान के आने पर आप उसका अतिथि-सत्कार कैसे करेंगे?
उतर :- घर में मेहमान के आने पर हम बहुत ही आदर भाव के साथ उनका स्वागत करेंगे और अगर वो हमसे बड़े हैं तो उन्हें नमस्ते या हेलो बोलकर स्वागत करेंगे । फिर मेहमान को बैठने के लिए कहेंगे। और उनका हालचाल पूछकर उनके पीने के लिए पानी व चाय या कॉफी का प्रबंध करेंगे। यदि खाने का समय होगा तो उनके लिए खाने का प्रबंध करेंगे। उनके साथ ऐसा व्यवहार करेंगे कि उन्हें हमारे घर पर किस चीज की कमी महसूस ना हो।
प्रश्न 2. आपको छुट्टियों में किसके घर जाना सबसे अच्छा लगता है? वहाँ की दिनचर्या अलग कैसे होती है? लिखिए।
उतर :- छुट्टियों में मुझे मामा के घर जाना सबसे अच्छा लगता है। मामा का घर गाँव में है। वहाँ सभी लोग सुबह जल्दी उठ जाते है। और अपने-अपने काम में लग जाते है। मामा के यहाँ दूध देने वाली कई गायें और भैंसे हैं। हमें ताजा दूध व दही खाने पीने को मिलता है। नाश्ते में रोटी या पराठे के साथ ताजा मक्खन – घी भी खाने को मिलता है। गाँव में चारो तरफ खेतों में फसल लगे होते है। नहाने के लिए खेत में लगे ट्यूबवेल पर जाते हैं और जी भर कर नहाते और खूब शोर मचाते हैं। रात को मामा या नानाजी हमें तरह-तरह की कहानियाँ सुनाकर हमारा मनोरंजन करते हैं। मामा का गाँव बहुत अच्छा लगता है।
प्रश्न 3. मशीनी युग में अनेक परिवर्तन आए दिन होते रहते हैं। आप अपने आसपास से इस प्रकार के किसी परिवर्तन का उदाहरण चुनिए और उसके बारे में लिखिए।
उतर :- मशीनी युग के कारण बड़े से बड़े व छोटे से छोटे उद्योगों में बहुत परिवर्तन आए हैं। हमारे गाँव में कुम्हार मिट्टी के बर्तन बनाते थे और जुलाहे खेस, दुतई एवं चादर बनाते थे। हंडिया, बटलोई का स्थान स्टील के बर्तनों ने ले लिया, अतः धीरे-धीरे उनका काम बंद हो गया। शादी के समय पर सकोरों की जरूरत पड़ती थी, उसका स्थान प्लास्टिक के गिलासों ने ले लिया। जुलाहे के बुने कपड़ों का स्थान मशीन से बने कपड़ों ने ले लिया है। आज उनके हथकरघे खाली पड़े हैं। ये कारीगर अब खेतों में मजदूरी करने के लिए मजबूर है। मजदूरी न मिलने पर इन्हें कई-कई दिन खाली बैठना पड़ता है।
प्रश्न 4. बाज़ार में बिकने वाले सामानों की डिज़ाइनों में हमेशा परिवर्तन होता रहता है। आप इन परिवर्तनों को किस प्रकार देखते हैं? आपस में चर्चा कीजिए।
उत्तर :- बाज़ार में बिकने वाले सामानों के डिज़ाइनों में हमेशा परिवर्तन होता रहता है क्योंकि एक ही डिज़ाइन की वस्तु का प्रयोग करते-करते लोग ऊब जाते हैं। ग्राहक हमेशा नई चीज़ की माँग करता है। इसलिए वस्तुओं के निर्माता बदलाव लाकर उसे आकर्षक और टिकाऊ बनाने की कोशिश करते हैं। उस सामान में नई सुविधा जोड़ते हैं। हम इस परिवर्तन को अच्छा मानते हैं। इलेक्ट्रॉनिक्स, स्लीपर और कपड़ों आदि के नए डिजाइन हमेशा बाज़ार पर छाए रहते हैं।
प्रश्न 5. हमारे खान-पान, रहन-सहन और कपड़ों में भी बदलाव आ रहा है। इस बदलाव के पक्ष-विपक्ष में बातचीत कीजिए और बातचीत के आधार पर लेख तैयार कीजिए।
उतर :- हमारे खान-पान, रहन-सहन और कपड़ों में आजकल काफी बदलाव आ रहा है। दिन-प्रतिदिन आधुनिकता बढ़ती जा रही है। और इसका विशेष प्रभाव पड़ रहा है हमारे खान-पान, रहन-सहन और पहनावे पर। जैसे खान-पान में फास्ट फूड बहुत हावी होता जा रहा है, जो लोगों के स्वास्थ्य के लिए अच्छा नहीं है। एक दूसरा बदलाव यह भी है कि किसी भी प्रांत का पारंपरिक भोजन अब सब जगह मिल जाएगा । और सब उसका आनंद उठा सकते हैं। रहन-सहन में भी बदलाव आया है। पहनावा देश और समाज की सीमा को पार करके सामान्य होता जा रहा है। कुछ बदलाव अच्छा भी है। हम दूसरों के भोजन एवं अच्छे पहनावे को अपना रहे हैं। पुराना फैशन लौटकर नए रूप में आ रहा है। जो कल तक बहिष्कृत एवं तिरस्कृत था, वह नए के रूप में स्वीकृत हो रहा है।
भाषा की बात
प्रश्न 1. “बदलू को किसी बात से चिढ़ थी तो काँच की चूड़ियों से’ और बदलू स्वयं कहता है- “जो सुंदरता काँच की चूड़ियों में होती है लाख में कहाँ संभव है?” ये पंक्तियाँ बदलू की दो प्रकार की मनोदशाओं को सामने लाती हैं। दूसरी पंक्ति में उसके मन की पीड़ा है। उसमें व्यंग्य भी है। हारे हुए मन से, या दुखी मन से अथवा व्यंग्य में बोले गए वाक्यों के अर्थ सामान्य नहीं होते। कुछ व्यंग्य वाक्यों को ध्यानपूर्वक समझकर एकत्र कीजिए और उनके भीतरी अर्थ की व्याख्या करके लिखिए।
उतर :-
(i) बदलू को किसी बात से चिढ़ थी तो काँच की चूड़ियों से
अर्थ − इस वाक्य से चूड़ी बनाने वाले की मनोदशा का पता चलता है, वाक्य में कांच की चूड़ियों को मशीनी युग का चलन बताया गया है, जो उनके जैसे शिल्पकार का रोजगार छीन रहा है, ये चूड़ियाँ उसे अंदर-ही-अंदर पीड़ा और कष्ट दे रही हैं।
(ii) जो सुंदरता काँच की चूड़ियों में होती है, लाख की चूड़ियों में कहाँ संभव है?
अर्थ − कृत्रिम सौन्दर्य और दीप्ति को महत्व देने वाले, कारीगरी भूलकर कांच की चूड़ियों को लाख की चूड़ियों से भी अधिक सुंदर बताकर व्यंग्य किया है, यह वाक्य अपने आप में गहरा दर्द छुपाता है।
(iii) बदलू ने मेरी दृष्टि देख ली और बोल पड़ा, यही आखिरी जोड़ा बनाया था ज़मींदार साहब की बेटी के विवाह पर, दस आने पैसे मुझको दे रहे थे। मैंने जोड़ा नहीं दिया। कहा, शहर से ले आओ।
अर्थ − इस कथन में उसने ज़मींदार पर व्यंग्य किया है। जिस बदलू की चूड़ियों की धूम सारे गाँव में नहीं अपितु आस पास के गाँवों में भी थी, लोग शादी-विवाह पर उसको मुहँ माँगें मूल्य दिया करते थे, ज़मींदार उसे दस आने देकर सन्तुष्ट करना चाहते थे। दूसरा व्यंग्य उसने शहर पर किया है । ज़मींदार के द्वारा उसको सिर्फ़ दस आने देने पर उसने जमींदार को चूड़ियाँ शहर से लाने के लिए कह दिया क्योंकि शहर की चूड़ियों का मूल्य उसकी चूड़ियों से सहस्त्र गुना महँगा था।
(iv) गाय कहाँ है, लला! दो साल हुए बेच दी। कहाँ से खिलाता?
अर्थ − ‘कहाँ से खिलाता’ में आर्थिक मजबूरी की ओर संकेत किया है। इसी कारण से गाय बेच दी गई। जब तक बदलू चूड़ियाँ बनाता था, तब तक सब सुविधाएं थी । बेरोजगार होने से सुविधाएं भी छूट गई है।
प्रश्न 2. ‘बदलू’ कहानी की दृष्टि से पात्र है और भाषा की बात (व्याकरण) की दृष्टि से संज्ञा है। किसी भी व्यक्ति, स्थान, वस्तु, विचार अथवा भाव को संज्ञा कहते हैं। संज्ञा को तीन भेदों में बाँटा गया है (क) व्यक्तिवाचक संज्ञा, जैसे-लला, रज्जो, आम, काँच, गाय इत्यादि (ख) जातिवाचक संज्ञा, जैसे-चरित्र, स्वभाव, वजन, आकार आदि द्वारा जानी जाने वाली संज्ञा। (ग) भाववाचक संज्ञा, जैसे-सुंदरता, नाजुक, प्रसन्नता इत्यादि जिसमें कोई व्यक्ति नहीं है और न आकार या वजन। परंतु उसका अनुभव होता है। पाठ से तीनों प्रकार की संज्ञाएँ चुनकर लिखिए।
उतर :-
व्यक्तिवाचक संज्ञा – जमींदार, मामा, बदलू, रज्जो।
जातिवाचक संज्ञा – स्त्रियाँ, चारपाई, बेटी, बच्चे, चूड़ियाँ, आदमी, गोलियाँ, अनाज, शहर, कलाई, दूध, मनिहार, मकान, वृक्ष, काका, लाख, चौखट।
भाववाचक संज्ञा – बीमार, बेरोजगार, प्रसन्नता, व्यक्तित्व, शांति, पढ़ाई, चाव, पेशा, जीवन, रुचि, प्रचार, दमा, अवस्था, हार, जीवन।
प्रश्न 3. गाँव की बोली में कई शब्दों के उच्चारण बदल जाते हैं। कहानी में बदलू वक्त (समय) को बखत, उम्र (वय/आयु) को उमर कहता है। इस तरह के अन्य शब्दों को खोजिए जिनके रूप में परिवर्तन हुआ हो, अर्थ में नहीं।
उतर :- गाँव की बोली में शब्दों के उच्चारण
उम्र- उमर
मर्द – मरद
भैया – भइया
ग्राम – गाँव
अंबा – अम्मा
दुर्बल – दुबला
स्कूल – सकूल
कम्प्यूटर – कम्पूटर
टी.वी. – टी.बी.
गर्मी – गरमी
i. लाख की चूड़ियाँ पहने, तो मोच आ जाए।
अर्थ − अगर औरतें लाख की चूड़ियाँ पहनती हैं तो कहीं उनके हाथों में मोच न आ जाए क्योंकि लाख की चूड़ियाँ काँच की चूड़ियाँ से थोड़ी भारी होती हैं ।
ii. मशीनी युग है न, लला! आजकल सब काम मशीन से होता है।
अर्थ − अब मशीन का युग है। हर काम मशीन से होता है। इससे किसके जीवन पर क्या असर पड़ता है इसकी किसी को कोई चिंता नहीं है।
iii. गाय कहाँ है लला! दो साल हुए बेच दी। कहाँ से खिलाता?
अर्थ − अब काँच को चूड़ियाँ बनने के बाद कोई भी लाख की चूड़ियाँ खरीदना पसंद नहीं करता था क्योंकि वे काँच से महँगी थी। इससे बदलू की आर्थिक स्थिति खराब हो गई उसे खुद के खाने के लिए नहीं था गाय को कैसे खिलाता।
Class 8 Hindi ध्वनि अतिरिक्त प्रश्न उत्तर (Extra Question Answers)
प्रश्न 1. लेखक को लाख की गोलियां कौन बनाकर देता था?
उत्तर – लेखक को सुन्दर – सुन्दर लाख की गोलियां बदलू बनाकर देता था।
प्रश्न 2. बदलू लेखक को क्या कहकर बुलाता था?
उत्तर – बदलू लेखक को ‘लला’ कहकर बुलाता था।
प्रश्न 3. शादी-विवाह के अवसर पर बदलू क्या जिद पकड़ लेता था?
उत्तर – शादी-विवाह के अवसर पर बदलू जिद पकड़ के सुहाग की चूड़ियों का मुंह मांगा दाम लेता था ।
प्रश्न 4. बदलू चूड़ियाँ बनाने का काम कहाँ करता था?
उत्तर – बदलू के मकान के सामने नीम का पुराना पेड़ था। उसी के नीचे बैठकर बदलू चूड़ियाँ बनाने का काम करता था।
प्रश्न 5. लेखक गर्मी की छुट्टियों में कहां जाता था?
उत्तर – लेखक गर्मी की छुट्टियों में अपने मामा के यहां चला जाता और एक-आध महीने वहां रहकर स्कूल खुलने के समय तक वापस आ जाता था।
प्रश्न 6. बदलू का पैतृक पेशा क्या था?
उत्तर – बदलू मनिहार था। चूड़ियाँ बनाना उसका पैतृक पेशा था और वह बहुत सुन्दर सुन्दर लाख की चूड़ियाँ बनाता था। उसके द्वारा बनाई गई चूड़ियों की बिक्री भी बहुत होती थी।
प्रश्न 7. बदलू का स्वभाव कैसा था?
उत्तर – बदलू का स्वभाव नम और भोला भला था। वह न किसी से ज्यादा बात करता और न ही किसी से लड़ता-झगड़ता था । उसे जरा सा भी गुस्सा नहीं आता था। सारा दिन अपने काम में लगा रहता था।
प्रश्न 8. लेखक बदलू को ‘बदलू मामा’ न कहकर ‘बदलू काका’ क्यों कहता था?
उत्तर – लेखक बदलू को ‘बदलू मामा’ न कहकर ‘बदलू काका’ इसलिए कहता था क्योंकि गॉंव के सभी बच्चे बदलू को ‘बदलू काका’ कहते थे।
प्रश्न 9. बदलू की बनाई गई चूड़ियों की बहुत खपत क्यों थी?
उत्तर – बदलू की बनाई गई चूड़ियों की बहुत खपत इसलिए थी क्योंकि वह बहुत ही सुंदर चूड़ियाँ बनाता था। उस गाँव में तो सभी स्त्रियाँ उसकी बनाई हुई चूड़ियाँ पहनती थीं आस – पास के गाँवों के लोग भी उससे चूड़ियाँ ले जाते थे।
प्रश्न 10. किसी भी स्त्री के हाथों में काँच की चूड़ियों को देखकर बदलू की क्या प्रतिक्रिया होती थी?
उत्तर – बदलू को काँच की चूड़ियाँ बिल्कुल पसंद नही थी। यदि उसको किसी भी स्त्री के हाथों में काँच की चूड़ियाँ दिख जातीं तो वह अंदर – ही – अंदर कुढ़ उठता और कभी कभी तो दो – चार बातें भी सुना देता।
प्रश्न 11. विवाह के अवसर पर बदलू को क्या – क्या मिलता था?
उत्तर – विवाह में उसके बनाए गए सुहाग के जोड़े का मूल्य इतना बढ़ जाता था कि उसके लिए उसकी घरवाली को सारे वस्त्र मिलते, ढेरों अनाज मिलता, उसको अपने लिए पगड़ी मिलती और रूपये मिलते सो अलग।
प्रश्न 12. लेखक की निगाह एक क्षण के लिए रज्जो के हाथों पर क्यों ठिठक गई?
उत्तर – लेखक की निगाह एक क्षण के लिए रज्जो के हाथों पर इसलिए ठिठक गई क्योंकि उसके हाथों में लेखक ने लाख की चूड़ियाँ देखी जो की उसकी गोरी गोरी कलाईयों पर बहुत फब रही थीं।
प्रश्न 13. किस घटना ने लेखक को अचानक बदलू की याद दिला दी?
उत्तर – एक दिन बरसात में लेखक के मामा की छोटी लड़की आँगन में फिसलकर गिर गई। उसके हाथ की काँच की चूड़ी टूट कर उसकी कलाई में घुस गई और उससे खून बहने लगा। उस समय लेखक के मामा घर पर नहीं थे। तो लेखक ने ही उसकी मरहम-पट्टी की। इस घटना ने उसे अचानक बदलू की याद दिला दी।
प्रश्न 14. बदलू लाख की चूड़ियाँ कैसे बनाता था?
उत्तर – बदलू अपने मकान के सामने नीम के पेड़ नीचे बैठकर चूड़ियाँ बनाने का काम करता था। उसके बगल में ही दहकती भट्टी में लाख पिघलाता था। फिर सामने रखी लकड़ी के चौकोर टुकड़े पर लाख को मुलायम होने पर वह उसे सलाख के समान पतला करके चूड़ी का आकार देता था फिर उन चूड़ियों को बेलननुमा मुँगेरियाँ पर चढाकर गोल और चिकना बनाता तब एक एक कर पूरे हाथ की चूड़ियाँ बनाने के बाद उन पर कलर करता था।
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