Class 9 NCERT Sanchayan Book word meanings (Class 9 Hindi Sanchayan Word Meanings -Chapter wise)
Here, the difficult words and their meanings of all the Chapters of CBSE Class 9 Hindi Sanchayan Book have been compiled for the convenience of the students. This is an exhaustive list of the difficult words and meanings of all the Chapters from the NCERT Class 9 Hindi Sanchayan Book. The difficult words’ meanings have been explained in an easy language so that every student can understand them easily.
Sanchayan Book
- Chapter 1 गिल्लू (Gillu)
- Chapter 2 स्मृति (Smriti)
- Chapter 3 कल्लू कुम्हार की उनाकोटी (Kallu Kumhar Ki Unakoti)
- Chapter 4 मेरा छोटा-सा निजी पुस्तकालय (Mera Chota Sa Niji Pustakalaya)
- Chapter 5 हामिद खाँ (Hamid Khan)
- Chapter 6 दिये जल उठे (Diye Jal Uthe)
- Class 9 Sparsh Word meaning
Sanchayan Book Word Meaning
Chapter 1 गिल्लू (Gillu)
- अद्भुत – अनोखी
- अनादरित – आदर का अभाव, तिरस्कार
- अनायास – अचानक
- अपवाद – सामान्य नियम को बाध्ति या मर्यादित करने वाला
- अवतीर्ण – प्रकट
- अवधि – समय
- आवश्यक – जरुरी
- आश्चर्य – हैरान
- आश्वस्त – निश्चिन्त
- आहत – ज़ख्मी, घायल
- उत्पन्न – पैदा
- उष्णता – गरमी
- कर्कश – कटु, कानों को न भाने वाली
- काकद्वय – दो कौए
- काकभुशुंडि – (रामायण) एक राम भक्त जो लोमश ऋषि के शाप से कौआ हो गए थे
- कार्यकलाप – दिन भर के काम
- खाद्य – भोजन
- गंध – खुशबू
- घोंसले – नीड़, रहने की जगह
- छूआ–छुऔवल – चुपके से छूकर छुप जाना और फिर छूना
- नित्य – हमेशा
- निश्चेष्ट – बिना किसी हरकत के
- परिचारिका – सेविका
- पीताभ – पीले रंग का
- प्रभात – सुबह
- मरणासन्न – मृत्यु के समीप पहुँच जाने वाला
- मुक्त – आजाद
- यातना – दुःख
- राह – रास्ता
- लघुगात – छोटा शरीर
- लघुप्राण – छोटा जीव
- विस्मित – आश्चर्यचकित
- संभवतः – अवश्य ही
- समस्या – परेशानी
- समादरित – विशेष आदर
- समीप – नजदीक
- सर्र से – तेज़ी से
- सर्वथा – सब प्रकार से
- सुलभ – आसान
- सोनजुही – जूही (पुष्प) का एक प्रकार जो पीला होता है
- स्निग्ध् – चिकना
- स्मरण – याद
- हरीतिमा – हरियाली
- हौले – धीरे
- हौले–हौले – धीरे–धीरे
Chapter 2 स्मृति (Smriti)
- अकस्मात् – अचानक
- अक्ल चकराना – हैरान होना
- अग्र – आगे
- अचूक – खाली न जाने वाला, निश्चित
- अवलंबन – सहारा
- आशंका – डर
- आश्वासन – भरोसा, दिलासा
- उझकने – उचकना, पंजे के बल उचककर झाँकना
- उद्वेग – बेचैनी, घबराहट
- उपहास – मजाक
- एकाग्रचित्तता – स्थिरचित्त, ध्यान
- कड़ी – पक्की
- कपोल – गाल
- कसूर – गलती
- किलोलें – क्रीड़ा
- गुंजल्क – गुलाटी
- चकित – हैरान
- चक्षुःश्रवा – आँखों से सुनने वाला
- चिल्ला – कड़ी सरदी
- चेष्टा – कोशिश
- छोर – किनारा
- ज्योंही – जैसे ही
- झुरे – तोड़ना
- डैने – पंख
- ढाढ़ें – जोर–जोर से रोना
- ताकीद – आग्रह
- त्योंही – वैसे ही
- दुधारी – दोनों तरफ से धर वाली, दो धरों वाली
- दुविधा – परेशानी
- दृढ़ संकल्प – पक्का विचार
- देह – शरीर
- धौंकनी – धड़कन
- पूर्व – पहले
- पैंतरों – मुद्रा, स्थिति
- प्रतिद्वंद्वी – शत्रु
- प्रतिध्वनि – किसी शब्द के उपरांत सुनाई पड़ने वाला उसी से उत्पन्न शब्द, गूँज
- प्रवृत्ति – मन का किसी विषय की ओर झुकाव
- प्रसन्नवदन – प्रसन्न चेहरा
- बिदककर – चौंककर
- भुँजाने – भुनवाना
- मज्जा – हड्डी के भीतर भरा मुलायम पदार्थ
- मिथ्या – झूठ
- मुठभेड़ – आमना–सामना
- मूक – गूंगा
- मृगशावक – हिरन का बच्चा
- विषधर – विष को धारण करने वाला
- शीत – ठण्ड
- सजीव – जिन्दा
- सहमा – उदास
- सहानुभूति – दया
- सूझ – तरीका, उपाय
Chapter 3 कल्लू कुम्हार की उनाकोटी (Kallu Kumhar Ki Unakoti)
- अंतिम पड़ाव – आखिरी जगह
- अद्भुत – अनोखा
- अनुरोध् – प्रार्थना
- अलसायी – आलस से भरी हुई
- अलस्सुबह – तड़के, बिलकुल सुबह
- अवतरण – उतरना
- अवैध् आवक – बिना अनुमति के आना
- आकृष्ट – आकर्षित
- आश्वस्त – पूरा विश्वास होना
- इर्द–गिर्द – आस–पास
- ऊर्जादायी – शक्ति देने वाला
- कबीलाई – कबीलों से सम्बन्धित
- कानफाड़ू – कान को फाड़ कर रख देने वाली आवाज
- काफिला – दल
- खलल – बाधा, विघन
- चिह्नित – जिनकी अभी पहचान नहीं की जा सकी हैं
- तड़ित – बिजली
- तेशतर्रार – बहुत तेज
- दंतकथा – काल्पनिक कथा, जनश्रुति
- दुर्गम – ऐसी जगह जहाँ जाना आसान न हो
- निरक्षर – अनपढ़
- निर्यात – माल बाहर भेजना
- पारंपरिक – परम्परागत, काफी समय से चली आ रही कोई प्रथा
- पेयजल – पीने का पानी
- प्रतीकित – अभिव्यक्त करना
- प्रपात – झरना
- बहुधर्मिक – बहुत धर्मों वाला
- भयावना – भयानक, डरावना
- भोर – सुबह
- महज – सिर्फ
- मिथक – पौराणिक कथा
- मिलनसार – सभी से अच्छी तरह घुलने–मिलने वाला
- विक्षिप्त – पागल
- विशेषज्ञता – किसी काम को करने में निपूर्ण होना
- शब्दशः – प्रत्येक शब्द के अनुसार
- शैव तीर्थ – भगवान् शिव के तीर्थ
- समूची – पूरी
- सोहबत – संगति, साथ
- हथियारबंद – हथियारों के साथ
- हस्तांतरण – एक व्यक्ति के हाथ से दूसरे व्यक्ति के हाथ में जाना
- हिंसाग्रस्त – जहाँ हिंसा हो रही हो
Chapter 4 मेरा छोटा-सा निजी पुस्तकालय (Mera Chota Sa Niji Pustakalaya)
- अदम्य – जिसे दबाया न जा सके
- अध्यापन – पढ़ाना
- अनिच्छा – बिना इच्छा के
- अनूदित – अनुवाद किए हुए
- अर्धमृत्यु – अधमरा
- अवरोध् – रुकावट
- असहाय – बेसहारा
- आरंभ – शुरू
- आर्थिक – रुपये–पैसे सम्बंधित
- आर्थिक – रूपए पैसे संबंधी
- आह्नान – पुकार, बुलावा
- इंटरमीडिएट – माध्यमिक
- कसक – रुक–रुक कर होने वाली पीड़ा
- कुंज – घने पेड़ों वाला स्थान
- कुल्हड़ – पात्र, बर्तन
- चाट – आदत
- जी–तोड़ – कठिन मेहनत
- तत्कालीन – उस समय का
- दर्जे – कक्षा
- दाम – मूल्य
- दिवंगत – स्वर्गीय
- देहावसान – देहांत, मृत्यु
- नापसंद – पसंद न होना
- नासमझ – जिसे समझ न हो
- निजी – अपनी
- नियमित – हर–रोज
- पाखंड – ढोंग
- पुनर्जीवन – मर कर दुबारा जीवित होना
- प्रख्यात – जाने–माने, प्रसिद्ध
- प्रतिमाएँ – मूर्तियाँ
- बरहाल – फिलहाल
- रूढ़ियाँ – प्रथाएँ
- रोचक – मनोरंजक
- रोमांचक – अद्भुत
- वरिष्ठ – बड़े
- विपन्न – गरीब
- विराजमान – उपस्थित
- विशेषज्ञ – किसी विषय को अच्छी तरह समझने वाला
- विश्राम – आराम
- शिद्दत – कठिनाई
- संकलन – इकट्ठे करना
- संकलन – इकठ्ठा करना
- संपादन – अच्छी तरह से पूरा करना, प्रस्तुत करना
- सनक – पागलपन
- सहसा – अचानक
- सुसज्जित – सज्जी हुई
- हजारहा – हजारों से अधिक
Chapter 5 हामिद खाँ (Hamid Khan)
- अधेड़ उम्र – ढलती उम्र
- अब्बाजान – पिता
- अलमस्त – मस्त
- आगजनी – उपद्रवियों द्वारा लगाई गई आग
- आततायियों – अत्याचार करने वाले
- ईमान – धर्म पर विश्वास
- औलादें – संताने
- क्षुध – भूख
- चाव से – शौक से
- जहान – संसार
- जालिमों – अत्याचार करने वाले
- ज्योंही – जैसे ही
- तश्तरी – प्लेट
- तृप्त – संतोष
- दढ़ियल – दाढ़ी वाला
- धैंस जमाकर – गुस्सा दिखा कर, जबरदस्ती
- ध्यानपूर्वक – पूरे ध्यान से
- नियति – भाग्य
- परदेश – दूसरे देश
- पश्तो – प्राचीन भाषा
- पौराणिक – जिसका उल्लेख पुराणों में हुआ हो
- फ़ख्र – गर्व
- बेखटके – बिना किसी हिचकिचाहट के
- बेतरतीबी – बिना किसी तरीके के
- बेपरवाही – बिना किसी परवाह के
- मुल्क – देश
- मोल – खरीदना
- विनती – प्रार्थना
- सकुचा – हिचकिचाना
- सालन – गोश्त या सब्जी का मसालेदार शोरबा
- सेंकना – पकाना
- हस्तरेखा – हाथ की रेखाएँ
Chapter 6 दिये जल उठे (Diye Jal Uthe)
- अगुवाई – नेतृत्व
- अभिव्यक्ति – प्रकट करना
- आग्रह – प्रार्थना, विनती
- आधिपत्य – अधिकार
- आबादी – जनसंख्या
- आशंका – संदेह, शक
- आश्वस्त – विश्वास
- कठिनतम – बहुत अधिक कठिन
- कबूल – स्वीकार
- कुशासन – गलत शासन
- क्षुब्ध – अशांत, नाराज
- गंभीर – भयानक, खतरनाक
- जरा भी – थोड़ा भी
- जाने–परखे – विश्वास पात्र
- तहत – अनुसार
- तुच्छ – मूल्यहीन
- दांडिया – एक प्रकार का नृत्य
- नज़रा – दृश्य
- नजीर – उदाहरण
- निपुण – कुशल
- निर्धारित – निश्चित
- निषेधाज्ञा – निषेध सम्बंधित आज्ञा, मनाही का आदेश
- पुश्तैनी – पीढ़ियों से चला आ रहा
- प्रतिक्रिया – बदला, प्रतिकार
- प्रतिध्वनि – किसी शब्द के उपरान्त सुनाई पड़ने वाला उसी से उत्पान्न शब्द, गूँज
- प्रयाण – यात्रा
- बयार – हवा
- भर्त्सना – निंदा
- भव्य – शानदार
- भिन्न – अलग
- मजिस्ट्रेट – फ़ौजदारी अदालत का अफ़सर
- मुखी और तलाटी – गंदगी पर मक्खी की तरह
- रियासतदार – रियासत या इलाके के मालिक
- लज्जा – शर्म
- वरिष्ठ – बड़े
- विश्राम – आराम
- शब्दार्थ –
- संक्षिप्त – छोटी सी
- संदेशवाहक – संदेश लेने और पहुँचाने वाला व्यक्ति
- संभवतः – मुमकिन है
- संहार – नाश
- स्थगित – टालना
- स्वराज – अपना राज्य
- स्वाभाविक – प्राकृतिक
- हुक्मरान – शासक